लखनऊ के मोहम्मद शाहिद हॉकी स्टेडियम में राष्ट्रीय खेल दिवस पर आयोजित कार्यक्रम में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने खिलाड़ियों को सम्मानित किया, मेजर ध्यानचंद को श्रद्धांजलि दी और प्रदेश में खेलों के लिए नई क्रांति की शुरुआत की घोषणा की।
राष्ट्रीय खेल दिवस पर उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ का मोहम्मद शाहिद हॉकी स्टेडियम खेल भावना और उत्साह का गवाह बना। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस अवसर पर हॉकी के जादूगर मेजर ध्यानचंद को नमन किया और कहा—“हर खिलाड़ी समाज का हीरो होता है, और हर नागरिक को खिलाड़ी की तरह अनुशासन और समर्पण के साथ आगे बढ़ना चाहिए।”

सीएम योगी ने कार्यक्रम में उत्तर प्रदेश के 88 पदक विजेता खिलाड़ियों को सम्मानित किया और सहायक खेल प्रशिक्षकों को नियुक्ति पत्र भी सौंपे। पूर्व ओलंपियन और अर्जुन पुरस्कार विजेताओं को भी विशेष सम्मान प्रदान किया गया। इस दौरान खेल मंत्री गिरीश चंद्र यादव ने मुख्यमंत्री को अंगवस्त्र और मोमेंटो देकर सम्मानित किया।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में खेल क्रांति की शुरुआत हो चुकी है। उन्होंने बताया कि हर कमिश्नरी में स्पोर्ट्स कॉलेज, हर जनपद में स्टेडियम, हर विकासखंड पर मिनी स्टेडियम और हर ग्राम पंचायत में खेल का मैदान विकसित किया जा रहा है। युवक मंगल दल और महिला मंगल दल को स्पोर्ट्स किट भी उपलब्ध कराई जा रही है।

सीएम ने स्पोर्ट्स हॉस्टल बनाम स्पोर्ट्स कॉलेज का हॉकी मैच भी देखा और कहा—“यह खेल ऊर्जा, स्पीड और टीमवर्क का जीवंत उदाहरण है।” उन्होंने यूपी की हॉकी विरासत को याद करते हुए मेजर ध्यानचंद, के.डी. सिंह बाबू, मोहम्मद शाहिद से लेकर ललित उपाध्याय और राजकुमार पाल जैसे खिलाड़ियों के योगदान को सराहा।

सीएम योगी ने बताया कि सरकारी नौकरियों में खिलाड़ियों को 2% हॉरिजेंटल आरक्षण दिया जा रहा है। अब तक 500 से अधिक खिलाड़ियों को पुलिस और अन्य विभागों में नौकरी मिल चुकी है। उन्होंने यह भी कहा कि प्रदेश के खेल सचिव सुहास एल. वाई., खुद पैरालंपिक मेडलिस्ट हैं और लगातार खिलाड़ियों के हित में सुधार कर रहे हैं।
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